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धमतरी

समर्थन मूल्य पर धान उपार्जन एवं कस्टम मिलिंग की प्रगति

खरीफ विपणन वर्ष 2025-26
अब तक कुल 1.17 लाख मी.टन धान खरीदी
409.32 करोड़ रुपये का भुगतान
समितियों से 8 हजार मी.टन धान का उठाव

धमतरी/ धमतरी जिले में समर्थन मूल्य पर धान उपार्जन कार्य सुचारू रूप से जारी है। किसानों को सुविधाजनक, पारदर्शी और त्वरित सेवाएँ उपलब्ध कराने हेतु प्रशासन द्वारा सतत मॉनिटरिंग की जा रही है। अब तक( 10 दिसंबर ) तक कुल 1,72,568.60 मी.टन धान का उपार्जन किया गया है, जिसके एवज में किसानों को 409.32 करोड़ रुपये का भुगतान सुनिश्चित किया गया है। कुल 37,084 किसानों द्वारा धान विक्रय किए जाने से किसानों को आर्थिक संबल प्राप्त हुआ है।
कस्टम मिलिंग व्यवस्था को भी तेजी से आगे बढ़ाया जा रहा है। मिलिंग हेतु 5,52,336 मी.टन धान की अनुमति प्रदान की गई है, जिनमें से 4,54,272 मी.टन का अनुबंध मिलर्स से किया जा चुका है। इसी प्रकार 19,611 मी.टन धान का डी.ओ. जारी किया गया है, जबकि समितियों से 7,966 मी.टन धान का उठाव हो चुका है। समितियों में 1,64,602.60 मी.टन धान शेष है, जिसके त्वरित उठाव हेतु निर्देश दिए गए हैं।
टोकन सिस्टम के माध्यम से धान खरीदी प्रक्रिया को पारदर्शी एवं व्यवस्थित बनाया गया है। 10 दिसंबर 2025 तक कुल 17,134 टोकन जारी किए गए हैं, जिनमें 1,34,59.92 क्विंटल धान खरीदी दर्ज की गई है। इस अवधि में 3,133 किसानों द्वारा 86.53 हेक्टेयर रकबे से धान विक्रय किया गया। लंबित आवेदनों की संख्या मात्र 7 है, जिनका शीघ्र निराकरण किया जा रहा है।
अवैध रूप से परिवहन किए जा रहे धान पर भी सख्त कार्रवाई जारी है। अब तक 3,652.40 क्विंटल धान तथा 02 वाहन जप्त किए गए हैं, जिनका अनुमानित मूल्य 28 लाख रुपये है। जिले में फोटो अपलोड एवं सत्यापन प्रक्रिया भी लगभग पूर्णता की ओर है। धान विक्रय करने वाले 3,133 किसानों में से 3,123 किसानों ने फोटो अपलोड किया है, जो 99.68 प्रतिशत उपलब्धि दर्शाता है।
कृषक श्रेणीवार स्थिति में सीमांत, लघु और दीर्घ श्रेणी के कुल 37,084 किसानों ने धान बेचा है। पंजीकृत 74,611 कृषकों में से 18,768 किसानों ने अब तक विक्रय किया है, जबकि शेष किसानों को निर्धारित तारीखों में टोकन के माध्यम से बुलाने की व्यवस्था सुनिश्चित की गई है।
कलेक्टर के निर्देशन में कमांड सेंटर द्वारा धान उपार्जन, रकबा समर्पण, शिकायत समाधान तथा फोटो सत्यापन की सतत समीक्षा की जा रही है। प्रशासन का लक्ष्य है कि प्रत्येक पात्र किसान को समय पर टोकन उपलब्ध हो, खरीदी बिना किसी परेशानी के हो और भुगतान शीघ्रतापूर्वक किसानों के खातों में पहुँच सके। जिले में खरीदी कार्य पूर्णतः पारदर्शी, व्यवस्थित और किसानहित में जारी है।

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